देहरादून में 1. 28. 327 लोगो की मानव श्रृंखला 

|| देहरादून में 1. 28. 327 लोगो की मानव श्रृंखला|| 



सिंगल पॉलीथिनमुक्त यूज प्लास्टिक और पॉलीथिन के विरुद्ध देहरादून में 50 किलोमीटर लंबी मानव श्रृंखला बनाकर पांच नवम्वर के दिन देहरादून में इतिहास रचा गया। दून के महापौर सुनील उनियाल गामा ने दावा किया कि देश में सिंगल यूज प्लास्टिक के खिलाफ बनी यह सबसे बड़ी मानव श्रृंखला है। इसमें 75 हजार छात्र-छात्राओं समेत कुल एक लाख 28 हजार 327 लोग शामिल हुए।


बता दें कि सुरक्षा की दृष्टि से बड़ी संख्या में पुलिस बल के साथ 14 डोन कैमरों से निगरानी की गई। इस दौरान शहर में लिम्का बुक ऑफ रिकार्ड्स की टीम भी मौजूद रही, जबकि गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकार्ड्स ने मानव श्रृंखला से जुड़ी पूरी रिपोर्ट मांगी है।


प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ओर से देश देश में सिंगल यूज प्लॉस्टिक का उपयोग बंद करने के साथ ही पॉलीथिन मुक्त ग्रीन दून मिशन के संकल्प के साथ नगर निगम की ओर से मंगलवार को शहर में मानव अंखला बनाकर जनता को जागरूक किया गया। इसमें हर वर्ग की भागीदारी रही, मगर सर्वाधिक सहयोग सभी सरकारी व निजी स्कूलों एवं कालेजों के छात्र-छात्राओं का रहा।


लोग सुबह साढ़े आठ बजे से ही सड़क पर कतारबद्ध होने शुरू हो गए थे। मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत व महापौर सुनील उनियाल गामा ने प्रशासनिक अमले के साथ सुबह साढ़े नौ बजे से श्रृंखला का निरीक्षण शुरू किया। सुबह दस बजते ही जैसे शहर में अलग अलग स्थानों पर लगाए गए 44 सॉयरन व हूटर बजे लोगों ने श्रृंखला के लिए एक-दूसरे का हाथ पकड़ लिए।


पंद्रह मिनट बाद सवा दस बजे पुनः सॉयरन बजा व श्रृंखला का समापन हो गया। इस दौरान शहर का समूचा यातायात डायवर्ट रहा, जिससे कुछ जगह आमजन को परेशानी भी उठानी पड़ी। सांसद माला राजलक्ष्मी शाह व उच्च शिक्षा राज्य मंत्री धन सिंह रावत समेत कई गण्यमान्य लोग श्रृंखला का हिस्सा बने।


लोगों ने मिलाए सिंगल पॉलीथिनमुक्त ग्रीन दून के लिए 50 किलोमीटर लंबी श्रृंखला बना रचा इतिहास। नगर निगम का दावा, देश में सिंगल यूज प्लास्टिक के खिलाफ सबसे लंबी मानव श्रृंखला।




प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के सिंगल यूजप्लास्टिक के खिलाफ चलाए जा रहे अभियान में यह मानव श्रृंखला महत्वपूर्ण साबित 


- त्रिवेंद्र सिंह रावत, मुख्यमंत्री


यूज प्लास्टिक के खिलाफ जागरूकता अभियान के तहत बनाई गई मानव श्रृंखला में हर वर्ग ने बढ़ चढ़कर भाग लिया। दून ने इतिहास रचा है।


- सुनील उनियाल गामा, महापौर, दून नगर निगम



पर्यावरण का संरक्षण व संवर्द्धन हम सब की सामूहिक जिम्मेदारी है। इसे केवल और केवल सरकार की जिम्मेदारी मान लेना सही नहीं है। हमें अभी से जागना होगा। कपड़े के थैलों का प्रयोग करें,प्लास्टिक को न कहें और प्लास्टिक की वस्तुओं का प्रयोग बिल्कुल बंद कर दें। अधिक से अधिक पेड़ लगाएं, जैविक खेती को बढ़ावा दें, जल सरंक्षण करें, बारिश के पानी का संग्रहण करें। ऐसे प्रयास करें। ताकि आप-हम सुरक्षित रहें, हमारा प्रर्यावरण सुरक्षित रहे।


- महंत देवेंद्र दास महाराज, दरबार साहिब


शहर में मानव श्रृंखला बनाने का मकसद वाहवाही लूटना नहीं, बल्कि समाज में एक संदेश देना था। नगर निगम प्रशासन ने इस पूरे आयोजन में दो माह की अथक मेहनत की है। जन-जागरुकता कार्यक्रमों की श्रेणी में अभी तक पूरे प्रदेश में इतनी बड़ी संख्या में समाज में एक संदेश देना था। जन-जागरुकता कार्यक्रमों की श्रेणी में अभी तक पूरे प्रदेश में इतना बड़ी संख्या में आमजन की भागीदारी नहीं हुई है। देश में प्रधानमंत्री खुद सड़क पर उतरकर सिंगल यूजप्लॉस्टिक व पॉलीथिन का उपयोग बंद करने की अपील कर रहे हैं। हमें समझना चाहिए कि पर्यावरण की दृष्टि से पॉलीथिन कितनी हानिकारक है। सिर्फ धरती के जीव ही नहीं बल्कि समुद्री जीव भी पॉलीथिन के दुष्प्रभाव से पीड़ित हैं। दून शहर में हरवर्ग को पूरा समय दिया गया कि वे पॉलीथिन का उपयोग बंद कर दें, अब समय कार्रवाई का आ गया है।


- विनय शंकर पांडेय, नगर आयुक्त